सोमवार, 27 मई 2013

हरवंश परिवार के सदस्य थे: कमल नाथ

हरवंश परिवार के सदस्य थे: कमल नाथ

(पीयूष भार्गव)

सिवनी (साई)। हरवंश सिंह मेरे परिवार के सदस्य थे, जिस समय उनका निधन हुआ, मै विदेश में था, जहां मुझे पता चला कि ठा. हरवंश सिंह इस दुनिया में नहीं रहे तो मुझे विश्वास ही नहीं हुआ, क्योंकि 2-3 दिन पूर्व ही उन्होंने मुझसे चर्चा की थी और दिल्ली में मिलने का वादा भी किया था। मैं अपने परिवार के सदस्य से मिलने इस तरह आऊंगा, सोचा न था। उक्ताशय की बातें आज स्व. ठा. हरवंश सिंह के गंगाजलि पूजन कार्यक्रम में पहुंचकर कमलनाथ ने शोक संवेदनाएं व्यक्त करते हुए कहा।
ज्ञातव्य है कि हरवंश सिंह ठाकुर ने अपनी राजनैतिक पायदान चढ़ना तत्कालीन क्षत्रप कुंवर अर्जुन सिंह का हाथ पकड़कर आरंभ किया था। उस वक्त सिवनी के सियासी गलियारों में सुश्री विमला वर्मा का इकबाल बुलंद था। कुंवर अर्जुन सिंह उस समय सिवनी में सुश्री वर्मा के खिलाफ किसी को खड़ा करना चाह रहे थे।
इसी समीकरण के चलते हरवंश सिंह को उस वक्त हाथकरघा और वस्त्र निगम का अध्यक्ष बनाया गया। इसके उपरांत तिवारी कांग्रेस के गठन के उपरांत हरवंश सिंह ने कमल नाथ का दामन थामा और इसके उपरांत दिग्विजय सिंह के वे विश्वास पात्र बन गए थे। कमल नाथ के साथ उन्होंने लंबा समय बिताया है। इस लिहाज से कमल नाथ के परिवार के सदस्य के रूप में हरवंश सिंह रहे हैं।

बर्रा में आयोजित तेरहवी के कार्यक्रम में केंद्रीय मंत्री जयराम रमेश, कांतिलाल भूरिया, अजय राहुल सिंह को भी पहुंचना था, परंतु छत्तीसगढ़ में कांग्रेसी नेताओं के ऊपर हुए नक्सली हमले के बाद उक्त नेता छत्तीसगढ़ की ओर रवाना हुए, जिस कारण से वह बर्रा नहीं पहुंच पाये। आज बर्रा पहुंचने वालों में श्री नाथ के अलावा विधायक लखन घनघोरिया, सांसद उदयप्रताप सिंह, विश्वेश्वर भगत, रामेश्वर निखरा, सुखदेव पांसे, दीपक सक्सेना सहित सैकड़ों की संख्या में लोगों ने पहुंचकर श्रद्धांजलि अर्पित की। 

गुटखा विक्रताओं पर छापे से मचा हडकंप

गुटखा विक्रताओं पर छापे से मचा हडकंप

(अपराध ब्यूरो)

सिवनी (साई)। लंबे समय से कुंभकर्णीय निंद्रा में सोया खाद्य एवं औषधि प्रशासन की तंद्रा कुछ हद तक टूटी है। खाद्य और औषधी प्रशासन ने शहर के आठ प्रतिष्ठानों में छापा मारकर लगभग पांच सौ पाउच जप्त किए हैं, जिसकी चर्चा बुधवारी बाजार में गर्मा गई है।
ज्ञातव्य है कि प्रदेश सरकार ने पिछले साल ही प्रदेश में तंबाखु युक्त गुटखों का विक्रय प्रतिबंधित कर दिया था। बावजूद इसके सिवनी जिले में राजश्री और अन्य ब्रांड के गुटखे सरेआम बिक रहे हैं। प्राप्त जानकारी के अनुसार शहर के आठ पान और किराना व्यापारियों के प्रतिष्ठानों पर छापा मारकर लगभग पांच सौ पाउच जप्त किए गए हैं।

बाजार में चल रही चर्चाओं के अनुसार खाद्य एवं औषधी प्रशासन द्वारा बड़े व्यापारियों पर मेहरबानी की जा रही है। इतना ही नहीं छोटे और बड़े व्यापारियो से सरकार को चंदा देने के नाम पर मोटी रकम भी वसूली जा रही है। इन बातों में कितनी सच्चाई है यह तो विभाग जाने और व्यापारी पर इस संबंध में खाद्य और औषधी प्रशासन के अधिकारी उनका पक्ष जानने के लिए उपलब्ध नहीं हो पाए।

नक्सली हमला निंदनीय: अखिलेश शुक्ला

नक्सली हमला निंदनीय: अखिलेश शुक्ला

(ब्यूरो कार्यालय)

सिवनी (साई)। ‘‘छत्तीसगढ़ में विपक्षी दल कांग्रेस के नेताओं पर हुआ नक्सली हमला किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जा सकता है। इस हमले की महज निंदा करने से काम नहीं चलेगा। केंद्र सरकार को नक्सलवाद से निपटने की ठोस कार्ययोजना बनानी ही होगी।‘‘
उक्ताशय की बात युवा भाजपा नेता और पेशे से चार्टर्ड एकाउंटेंट अखिलेश शुक्ला द्वारा आज दूरभाष पर चर्चा के दौरान कही। श्री शुक्ला ने कहा कि नक्सलवाद को किसी भी कीमत और परिस्थिति में बर्दाश्त नहीं किया जा सकता है। नक्सलवाद के खिलाफ केंद्र सरकार को कठोर कदम उठाने चाहिए।

श्री शुक्ला ने आगे कहा कि जिस तरह पश्चिम बंगाल में अर्धसैनिक बलों ने नक्सल प्रभावित इलाकों को घेरकर मोर्चाबंदी की थी, और उसके बाद पश्चिम बंगाल में रेल यातायात के साथ ही साथ जनजीवन पटरी पर आया था, उसी तरह मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में भी कठोर कदम उठाने होंगे।

पुलिस की दबंगई, फोटो खींचने पर संपादक पर उठाया हाथ

पुलिस की दबंगई, फोटो खींचने पर संपादक पर उठाया हाथ

(अपराध ब्यूरो)

सिवनी (साई)। रेल्वे में यात्रा करने के नाम पर भारतीय रेल द्वारा तत्काल की स्कीम लोगों की सुविधा के बजाए उनके गले की फांस ज्यादा बन रही है। दलालों द्वारा टिकिट विंडो पर जाकर टिकिट बनवाए जा रहे हैं और आम जनता मुंह देखती रह रही है। आज सुबह पुलिस की दबंगई की फोटो खींचने पर एक पुलिस कर्मी ने राष्ट्र चंडिका के संपादक अखिलेश दुबे के साथ हाथापाई कर डाली।
प्राप्त जानकारी के अनुसार आज सुबह रेल्वे स्टेशन के रिजर्वेशन काउंटर पर विवाद की स्थिति निर्मित हो गई। इस विवाद में सुधीर बघेल नामक युवक ने बताया कि वह सुबह सवा आठ बजे तत्काल का टिकिट बनवाने रिजर्वेशन काउंटर पर जाकर खड़े हुए। नो बजे दो युवक आए और उन्होंने सुधीर बघेल का लाईन से यह कहकर हटा दिया कि कागज पर नाम लिखो तब नंबर आएगा।
सुधीर बघेल ने समाचार एजेंसी ऑफ इंडिया को बताया कि वे इस बात को समझ नहीं पाए। इसकी शिकायत उनके द्वारा स्टेशन में उपस्थित कर्मचारी मकसूद खान से की। इसकी सूचना शायद कोतवाली पुलिस को लग गई। कोतवाली पुलिस की पीसीआर में चार पांच पुलिस आरक्षक आरक्षण केंद्र जा पहुंचे।
प्रत्यक्ष दर्शियों के अनुसार पुलिस आरक्षकों जिनमें रामलखन बघेल, श्री मतीन, श्री गौतम आदि का समावेश था, ने पहले टिकिट काउंटर से बुकिंग क्लर्क से बात की, उसके उपरांत वे बुकिंग काउंटर के अंदर जा पहुंचे। जैसे ही वे अंदर गए वहां मौजूद राष्ट्र चंडिका के संपादक अखिलेश दुबे ने उनका वीडियो बनाना आरंभ कर दिया।
प्रत्यक्ष दर्शियों के अनुसार संभवतः यह बात पुलिस आरक्षक श्री गौतम को नागवार गुजरी और वे तत्काल बुकिंग आफिस से बाहर आए और अपशब्द बोलते हुए अखिलेश दुबे से हाथा पाई करने लगे। प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि वहां मौजूद अन्य पुलिस कर्मियों ने श्री गौतम को एसा करने से रोका और बताया कि यह मीडिया से जुड़े हुए हैं।
बावजूद इसके श्री गौतम रूके नहीं। प्रत्यक्ष दर्शियों ने इस बात पर भी आश्चर्य व्यक्त किया कि रेल्वे स्टेशन पर जहां रेल्वे पुलिस मौजूद रहना चाहिए, वह मौजूद नहीं थी। वस्तुतः इस कार्यवाही को रेल्वे पुलिस द्वारा अंजाम दिया जाना चाहिए था, पर उनके स्थान पर कोतवाली पुलिस ने वहां जाकर कार्यवाही क्यों की!
इस संबंध में जब स्टेशन अधीक्षक श्री अग्रवाल से संपर्क करना चाहा गया तो उनसे संपर्क नहीं हो सका। इस बारे में अभी स्पष्ट नहीं हो पाया है कि किसकी शिकायत पर पीसीआर भरकर रेल्वे स्टेशन परिसर में स्थित आरक्षण केंद्र पहुंची थी, और वह वहां ततकल रिजर्वेशन के विवाद को निपटाने गई थी अथवा खुद का या किसी आला अधिकारी का रिजर्वेशन कराने गई थी।
वैसे जबसे तत्काल रिजर्वेशन का काम आरक्षण केंद्र से आरंभ करवाया गया है तबसे वहां दलालों की तादाद एकाएक बढ़ गई है। रेल्वे बुकिंग क्लर्क जय कुमार ने समाचार एजेंसी ऑफ इंडिया को बताया कि इस तरह का विवाद अवश्य हुआ था, पुलिस भी वहां आई थी किन्तु हाथापाई की जानकारी उन्हें नहीं है।
उधर, राष्ट्र चंडिका के संपादक अखिलेश दुबे ने बताया कि उन्होंने पुलिस के आते ही इस घटना को अपने केमरे में कैद करना आरंभ कर दिया था। जब पुलिस का बल आरक्षण केंद्र के अंदर पहुंचा तो उन्होंने टिकिट विंडो से वीडियो बनाना आरंभ किया। इस पर तैश में आए आरक्षक श्री गौतम वहां से बाहर आए और उनके साथ हाथापाई पर उतर आए।

अखिलेश दुबे के अनुसार आज रविवार है एवं अवकाश है, अतः आज सोमवार को इस घटना की लिखित शिकायत जिला पुलिस अधीक्षक के पास उपस्थित होकर उन्‍होंने दर्ज करा दी है