बुधवार, 5 जून 2013

कांग्रेस में पसरा हुआ है अजीब सा सन्नाटा

कांग्रेस में पसरा हुआ है अजीब सा सन्नाटा

(अखिलेश दुबे)

सिवनी (साई)। कांग्रेस के कद्दावर नेता हरवंश सिंह ठाकुर के निधन के उपरांत कांग्रेस के अंदर एक अजीब सा सन्नाटा पसर गया है। कांग्रेस के नेता अब अपने आप को दादा ठाकुर के अभाव में असहाय महसूस कर रहे हैं। दादा ठाकुर के बाद उनके कद या उनके समकक्ष कोई भी नेता सिवनी में नहीं बचा है।
कांग्रेस के अंदर हरवंश सिंह के रहते एक उत्साह का संचार होता था, उसकी कमी आज साफ तौर पर देखने को मिल रही है। कांग्रेस के कार्यकर्ता और जिला स्तर के बड़े नेता भी इस बात को कह रहे हैं कि भले ही हरवंश सिंह को वे लाख भला बुरा कह लेते थे, पर उनके रहते एक सरपरस्ती का भाव अवश्य ही लोगों के मन में रहता था जो आज बुरी तरह खल रहा है।
जिला कांग्रेस के जो नेता प्रदेश के क्षत्रपों से जुड़े हुए हैं उन्हें इस बात से बहुत ज्यादा अंतर नहीं पड़ रहा है कि आज हरवंश सिंह कांग्रेस में नहीं हैं, किन्तु हरवंश सिंह से सीधे सीधे जुड़े नेता और उनके बताए अनुसार ही राजनीति करने वाले नेता अब अपने आप को मजबूर ही पा रहे हैं।
कांग्रेस के एक खेमे में तो अब यह चर्चा भी तेज हो गई है कि आने वाले समय में अगर कांग्रेस पर कोई हमला किया जाता है तो उससे कांग्रेस किस रणनीति के तहत निपटेगी? आने वाले समय में सिवनी जिले के सियासी समीकरण इस कदर करवट लेने वाले हैं जिसकी उम्मीद शायद ही किसी ने की होगी।
ज्ञातव्य है कि पूर्व केंद्रीय मंत्री और गुजरे समय की कद्दवर नेत्री सुश्री विमला वर्मा के सक्रिय राजनीति से किनारा करने के उपरांत सिवनी में कांग्रेस की कमान हरवंश सिंह ठाकुर के हाथ में परोक्ष तौर पर आ गई थी। हरवंश सिंह ने सभी गुटों के बीच यहां तक कि विपक्षी दलों के साथ भी गजब का सामंजस्य बिठाया हुआ था।
हर चुनाव में पर्यावेक्षक की नियुक्ति से लेकर टिकिट वितरण, भीतराघात के आरोप आदि को सिवनी से भोपाल होकर दिल्ली तक संभालने का माद्दा हरवंश सिंह के पास ही था। हर स्थिति में हरवंश सिंह द्वारा अपने समर्थकों को बचा लिया जाता रहा है, पर आज कांग्रेस के एक बड़े धड़े के सामने यह संकट आ खड़ा हुआ है कि आखिर वे हाथ थामें तो किसका?
उधर, हरवंश सिंह के सिवनी जिले के गृह ग्राम बर्रा की ओर से भी अभी तक स्पष्ट संकेत कांग्रेस को नहीं मिल पाया है कि हरवंश सिंह का उत्तराधिकारी कौन होगा? कांग्रेस के अंदर चल रही चर्चाओं के अनुसार हरवंश सिंह के सुपुत्र रजनीश सिंह या हरवंश सिंह के अनुज रामजियन सिंह उनके उत्तराधिकारी हो सकते हैं।

ज्ञातव्य है कि गत दिवस सूत्रों के हवाले से हिन्द गजट ने इस बात का संकेत दिया था कि केवलारी विधानसभा के विधायक रहे हरवंश सिंह ठाकुर की राजनैतिक विरासत को उनके पुत्र रजनीश सिंह के स्थान पर उनके अनुज रामजियन सिंह संभालने वाले हैं।

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